जम्मू: जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने शुक्रवार को इजरायल और ईरान के बीच चल रही जंग पर सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि जंग कहीं भी हो, यह अच्छी बात नहीं है। उमर ने पूछा, ‘ईरान ने ऐसा क्या किया कि इजरायल को उस पर हमला करना पड़ा?’ उन्होंने यह भी कहा कि यह जंग जल्द खत्म होनी चाहिए, ताकि इलाके में अमन-चैन कायम हो सके। जम्मू में एक नई पहल ‘राब्ता’ ऑफिस का उद्घाटन करने के बाद मीडिया से बात करते हुए उमर ने कहा, ‘दो महीने पहले इजरायल की खुफिया एजेंसी के प्रमुख ने कहा था कि ईरान परमाणु बम बनाने के करीब भी नहीं है। फिर अचानक दो महीने बाद इजरायल ने ईरान पर हमला क्यों कर दिया?’
‘लोगों को ईरान से निकालने की कोशिशें जारी’
उमर ने बताया कि इस जंग की वजह से 6,000 से ज्यादा भारतीय नागरिक, जिनमें 1,400 जम्मू-कश्मीर के हैं, ईरान में फंस गए हैं। उन्होंने कहा, ‘हम एक-एक करके उन्हें निकाल रहे हैं। 90 स्टूडेंट्स को पहले ही निकाला जा चुका है और 400 को सुरक्षित जगहों पर पहुंचाया गया है। बाकी लोगों को निकालने की कोशिशें जारी हैं।’ उमर ने जम्मू-कश्मीर के पानी के इस्तेमाल पर भी सख्त रुख अपनाया। केंद्र सरकार की उस योजना पर, जिसमें जम्मू-कश्मीर का अतिरिक्त पानी पंजाब, हरियाणा और राजस्थान को देने की बात है, उमर ने कहा, ‘अभी हम अपने पानी को दूसरों को नहीं देंगे। पहले हमें अपने पानी का पूरा इस्तेमाल करने का हक मिले।’
राज्य का दर्जा और आरक्षण का मुद्दा
उमर ने उम्मीद जताई कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जम्मू-कश्मीर को दोबारा राज्य का दर्जा देने का अपना वादा पूरा करेंगे। उन्होंने कहा, ‘प्रधानमंत्री ने सोनमर्ग में और बाद में भी यह वादा किया था। हमें भरोसा है कि सरकार इसे पूरा करेगी।’ कानूनी रास्ता अपनाने के सवाल पर उन्होंने कहा कि अभी इस पर बात करने का वक्त नहीं आया है। पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती के आरक्षण के मुद्दे पर बयान को उमर ने नाटक करार दिया। उन्होंने कहा, ‘महबूबा अब इस मुद्दे पर क्यों बोल रहीं हैं? पहले वो चुप थीं। अब दिखावे की हमदर्दी दिखा रही हैं।’ उमर ने बताया कि आरक्षण पर एक रिपोर्ट की जांच कानून विभाग कर रहा है और जल्द ही कैबिनेट इस पर चर्चा करेगी।
क्या है उमर सरकार की ‘राब्ता’ नाम की पहल?
उमर ने जम्मू में ‘राब्ता’ नाम का एक नया दफ्तर खोला, जिसका मकसद लोगों की शिकायतों को जल्दी हल करना और डेटा के आधार पर फैसले लेना है। यह दफ्तर सरकार और जनता के बीच बेहतर तालमेल बनाएगा।