UP: तीन कुत्तों को जीवनदान… स्वदेशी तकनीक से हुआ कूल्हा प्रत्यारोपण; वैज्ञानिकों को बड़ी सफलता

2 Min Read
UP: तीन कुत्तों को जीवनदान… स्वदेशी तकनीक से हुआ कूल्हा प्रत्यारोपण; वैज्ञानिकों को बड़ी सफलता

भारतीय पशु चिकित्सा अनुसंधान संस्थान (आईवीआरआई) इज्जतनगर के वैज्ञानिकों ने सफल कूल्हा प्रत्यारोपण कर तीन कुत्तों को जीवनदान दिया है। 2022 से इस पर शोध चल रहा था। अब वैज्ञानिकों ने इसकी स्वदेशी तकनीक विकसित करने में सफलता हासिल की है।

वैज्ञानिक डॉ. रोहित कुमार के मुताबिक कुत्ते की उम्र दो वर्ष और वजन 20 किलो से अधिक होने पर ही कूल्हा प्रत्यारोपण संभव है। दुर्घटना में श्वान का कूल्हा टूटने के का जोखिम रहता है। अब तक भारत में कुत्तों के लिए कृत्रिम कूल्हा उपलब्ध नहीं था। जरूरत पड़ने पर विदेश से मंगाना पड़ता था।

यह भी पढ़ें- शादी से कुछ घंटे पहले प्रेमी संग भागी दुल्हन: छोटी बेटी ने बचाई मां-बाप की लाज, दूल्हे ने भी दिया पूरा साथ

इस पर पांच लाख रुपये से अधिक खर्च आता था। स्वदेशी तकनीक विकसित करने के लिए तीन वर्ष पूर्व रेफरल पॉलीक्लीनिक के इंचार्ज डॉ. अमरपाल सिंह के नेतृत्व में शोध शुरू हुआ। कृत्रिम कूल्हा बनाने में स्वदेशी उपकरणों और धातुओं का इस्तेमाल किया गया।

इससे प्रत्यारोपण का खर्च विदेश के सापेक्ष 93% तक कम हो जाएगा। शोध पूरा होने के बाद देहरादून, बरेली के पालतू कुत्तों समेत संभल पुलिस के डॉग स्क्वॉड में शामिल कुत्ते का कूल्हा प्रत्यारोपण किया गया।

Share This Article
Leave a Comment

Please Login to Comment.

Exit mobile version