नई दिल्ली। लोकसभा अध्यक्ष द्वारा अपने भाषण के महत्वपूर्ण हिस्से हटाये जाने के बाद आज मंगलवार को राहुल गांधी ने इसपर प्रतिक्रिया दी है। अपने भाषण के हटाए गए अंशों पर लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने कहा, मोदी जी की दुनिया में सच्चाई को मिटाया जा सकता है लेकिन हकीकत में सच्चाई को मिटाया नहीं जा सकता है। जो मैंने कहा और जो मुझे कहना था मैंने कह दिया, वह सच्चाई है, अब उन्हें जो मिटाना है मिटाएं।”
गांधी ने संसद परिसर में संवाददाताओं से कहा कि मुझे जो कुछ भी कहना था, मैंने कह दिया है और यह सच है। वे जितना चाहें उतना मिटा सकते हैं, लेकिन सच्चाई कायम रहेगी। कांग्रेस नेता सोमवार को लोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान की गई कुछ टिप्पणियों पर पत्रकारों के सवालों का जवाब दे रहे थे।
राहुल गांधी ने हिंदू समुदाय को बताया था हिंसक
बता दें कि विपक्ष के नेता के रूप में अपने पहले संबोधन के दौरान राहुल गांधी ने सत्तारूढ़ दल के नेताओं पर लोगों को सांप्रदायिक आधार पर विभाजित करने का आरोप लगाया था। जिसके बाद सत्ता पक्ष ने बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन किया।
वहीं, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पूरे हिंदू समुदाय को हिंसक कहने के लिए राहुल गांधी की आलोचना की। इसके अलावा, गृह मंत्री ने राहुल गांधी द्वारा भाजपा को ‘हिंसक हिंदुओं’ की उपमा दिए जाने पर भी कड़ी आपत्ति जताई और कांग्रेस नेता से माफी मांगने को कहा।
भाषण के इन अंशों पर मचा बवाल
अपने भाषण की शुरुआत करते हुए कांग्रेस सांसद ने संविधान की एक प्रति और भगवान शिव की तस्वीर लहराई और सत्तारूढ़ भाजपा और आरएसएस पर निशाना साधा।
राहुल गांधी के बयान पर भाजपा सांसदों ने कड़ा विरोध किया और प्रधानमंत्री मोदी ने भी इस दौरान हस्तक्षेप किया। गृह मंत्री अमित शाह ने कांग्रेस सांसद से भाजपा को हिंसा से जोड़ने के लिए माफी मांगने की मांग की।