लखनऊ। तंबाकू, पान मसाला और गुटखा बनाने वाली कंपनियों के लिए उप्र में माल और सेवा कर (GST) की चोरी करना आसान नहीं होगा। अब इस तरह के संवेदनशील उत्पाद बनाने वाली कंपनियों को राज्य GST में भी अपनी मशीनों का पंजीकरण कराना होगा।
हर मशीन के उत्पादन का विवरण रिटर्न दाखिल करते हुए देना होगा। पंजीकरण न कराने पर हर मशीन पर एक लाख रुपये राज्य कर विभाग जुर्माना लगा सकता है। सोमवार को योगी कैबिनेट ने उप्र माल और सेवा कर (संशोधन) अध्यादेश को मंजूरी दी।
अब तक केंद्र सरकार ने GST में मशीनों का पंजीकरण कराने और ऐसा न करने पर जुर्माना लगाने का प्राविधान किया है। इसी के आधार पर सभी राज्यों को अपने यहां भी मशीनों के पंजीकरण और उनसे होने वाले उत्पादन के आधार पर टैक्स लगाने की व्यवस्था को लागू करना था।
उप्र माल और सेवा कर (संशोधन) अध्यादेश 2024 को कैबिनेट से स्वीकृति दिलाकर नई धारा-122 क को जोड़ा गया है। इसके तहत जो कंपनियां इस धारा का उल्लंघन करेंगी, उन पर प्रति मशीन एक लाख रुपये जुर्माना लगाया जाएगा। साथ ही मशीन को सील भी कर दिया जाएगा।
पंजीकरण और जुर्माना राशि जमा करने के तीन दिन बाद मशीन को सीलमुक्त कर दिया जाएगा। इसके अलावा धारा- 2 (61) और धारा-20 में संशोधन किया गया है। धारा- 2 (61) में संशोधन करके इनपुट सेवा वितरक की परिभाषा में बदलाव करके आइटीसी को विस्तार दिया गया है।