नई दिल्ली। वैसे तो दुनिया में डायबिटीज के रोगी चीन में सबसे ज्यादा हैं लेकिन भारत भी कोई पीछे नहीं है। साल 2021 का आंकड़ा बताता है कि भारत में उस सयम 7.41 करोड़ शुगर पेशेंट्स थे। शुगर पेशेंट्स के साथ-साथ हार्ट पेशेंट, लीवर की बीमारी से जूझ रहे पेंशेंट्स को अब थोड़ी राहत मिलेगी।
दरअसल, इन बीमारियों के इलाज के लिए आमतौर पर इस्तेमाल होने वाली 41 दवाओं और छह फॉर्मूलेशन की कीमतें सरकार ने कम कर दी हैं। यह फैसला केंद्र सरकार की एजेंसी नेशनल फार्मास्यूटिकल्स प्राइसिंग अथॉरिटी (National Pharmaceutical Pricing Authority) का है।
कई दवाएं होंगी सस्ती
फार्मास्यूटिकल्स विभाग और राष्ट्रीय फार्मास्युटिकल मूल्य निर्धारण प्राधिकरण (NPPA) द्वारा जारी एक अधिसूचना के अनुसार, एंटासिड, मल्टीविटामिन और एंटीबायोटिक्स उन दवाओं में से हैं जो सस्ती हो जाएंगी।
इसके साथ ही सभी फार्मा कंपनियों को निर्देश दिया गया है कि वे विभिन्न दवाओं की कम कीमत की जानकारी तत्काल प्रभाव से डीलरों और स्टॉकिस्टों को दें।
143वीं बैठक में लिया गया यह फैसला
NPPA की 143वीं बैठक में यह निर्णय लिया गया ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि आवश्यक दवाओं की कीमत जनता के लिए सस्ती रहे।
भारत में शुगर पेशेंट सबसे ज्यादा
भारत दुनिया में डाइबिटीज के सबसे अधिक मामलों वाले देशों में से एक है। यहां 10 करोड़ से अधिक मधुमेह रोगी हैं, जिन्हें दवा की कीमत में कटौती से लाभ होने की उम्मीद है।
उल्लेखनीय है कि पिछले महीने ही फार्मास्यूटिकल्स विभाग ने 1 अप्रैल से प्रभावी, 923 अनुसूचित दवा फॉर्मूलेशन के लिए अपनी वार्षिक संशोधित कीमतें और 65 फॉर्मूलेशन के लिए संशोधित खुदरा कीमतें जारी की थी।