नई दिल्ली। उत्तर-पूर्वी दिल्ली में साल 2020 में हुए दंगों के केस में भड़काऊ भाषण देने के आरोप में जेल में बंद जेएनयू के पूर्व छात्र शरजील इमाम को दिल्ली हाईकोर्ट से बड़ी राहत मिली है। कोर्ट ने शरजील इमाम को वैधानिक जमानत दे दी है।
शरजील ने मामले में सात साल की अधिकतम सजा की आधी सजा काट लेने का हवाला देकर जमानत मांगी थी, जिसे कोर्ट ने स्वीकार कर लिया। शरजील इमाम पर जामिया और अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में सीएए के विरोध में चल रहे प्रदर्शनों में भड़काऊ भाषण देने का आरोप है।
न्यायमूर्ति सुरेश कुमार कैत और न्यायमूर्ति मनोज जैन की खंडपीठ ने इस तथ्य को ध्यान में रखते हुए आदेश पारित किया कि वह अपने खिलाफ लगाए गए अपराधों के लिए आधी सजा पहले ही काट चुका है। हालांकि, इमाम जेल में ही रहेगा क्योंकि वह 2020 के दिल्ली दंगों से संबंधित बड़ी साजिश के मामले में भी आरोपी है।
भड़काऊ भाषण देने के आरोप में गिरफ्तार किए गए शरजील इमाम को करीब चार साल बाद जमानत मिली है। फरवरी में दिल्ली की एक कोर्ट ने शरजील इमाम को वैधानिक जमानत देने से इनकार कर दिया था। इसके बाद शरजील ने हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था।
इमाम पर दिल्ली पुलिस की विशेष शाखा द्वारा दर्ज मामले में मामला दर्ज किया गया था, जिसे शुरू में देशद्रोह के अपराध के लिए दर्ज किया गया था और बाद में यूएपीए की धारा 13 लागू की गई थी। वह इस मामले में 28 जनवरी, 2020 से हिरासत में हैं।