प्रारंभिक अर्हता परीक्षा (पीईटी) के अंतिम दिन रविवार को कानपुर सेंट्रल स्टेशन पर परीक्षार्थियों का रेला पहुंचा। दोपहर एक बजे से लेकर देर रात तक करीब 65 हजार से अधिक परीक्षार्थी स्टेशन पहुंचे। भीड़ देख दोपहर एक से लेकर रात 11 बजे तक 14 स्पेशल ट्रेनें विभिन्न रूटों पर चलानी पड़ी। गोविंदपुरी स्टेशन पर भी परीक्षार्थियों की भीड़ रही। सेंट्रल स्टेशन पर आने वाली लगभग हर ट्रेन के एसी से लेकर जनरल कोच तक में परीक्षार्थियों का कब्जा था।
कोच के गेट से लेकर शौचालय और गलियारे तक में पैर रखने तक की जगह नहीं थी। आरपीएफ, जीआरपी और रेलवे अधिकारी परीक्षार्थियों को नियंत्रित करने के लिए जूझते रहे। दूसरी पाली की परीक्षा खत्म होने के बाद शाम करीब साढ़े पांच बजे परीक्षार्थियों की भीड़ अचानक प्लेटफार्म नंबर पांच पर बढ़ी। इससे कई आरक्षित टिकट वाले यात्री आगरा इंटरसिटी एक्सप्रेस में नहीं चढ़ पाए। इसी तरह कालका, महानंदा, चौरीचौरी, पूर्वा एक्सप्रेस से लेकर 12 ट्रेनों पर परीक्षार्थियों का कब्जा रहा। आरपीएफ प्रभारी एसएन पाटीदार, जीआरपी प्रभारी निरीक्षक ओएन सिंह ने अफसरों से बात कर प्रयागराज के लिए स्पेशल ट्रेन चलवाई। कानपुर से फतेहपुर तक जाने वाली मेमू को प्रयागराज तक विस्तारित कराया गया। इन ट्रेनों के चलने से भीड़ काफी कम हुई।