नई दिल्ली। शंभू बॉर्डर खोलने के मामले में सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई है। कोर्ट ने शंभू सीमा पर सड़कों को आंशिक रूप से फिर से खोलने के लिए पंजाब, हरियाणा के डीजीपी को आसपास के जिलों के एसपी के साथ एक सप्ताह में बैठक करने का निर्देश दिया है।
शंभू बॉर्डर को खोलने संबंधी मामले में हरियाणा सरकार ने पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी हुई है। सोमवार को कोर्ट में इस मामले पर सुनवाई हुई। पंजाब और हरियाणा सरकार ने मामले में अलग कमेटी बनाने के लिए अदालत में नाम दिए हैं।
दोनों साइड से एक लेन खुलेगी
सुप्रीम कोर्ट ने शंभू बॉर्डर को आंशिक रूप से खोलने को कहा है। एंबुलेंस, सीनियर सिटीजन्स, महिलाओं, छात्रों आदि के लिए हाइवे खोलने के आदेश दिया। अदालत ने कहा कि दोनों साइड से एक-एक लेन खुलेगी। साथ ही पंजाब और हरियाणा के पुलिस अफसरों को एक हफ्ते में इस संबंध में मीटिंग कर मॉडलिटी तय करने को कहा है। अगली सुनवाई सुप्रीम कोर्ट 22 अगस्त को करेगा।
बेंच ने पंजाब सरकार से प्रदर्शनकारी किसानों को शंभू बॉर्डर पर सड़क से ट्रैक्टर हटाने के लिए समझाने को कहा। न्यायालय ने कहा कि राजमार्ग वाहन पार्किंग के लिए नहीं हैं। शीर्ष अदालत ने प्रदर्शनकारी किसानों पर भी तीखी टिप्पणी की, जो कई महीने से ट्रैक्टरों को लेकर शंभू बॉर्डर पर हैं।
अदालत ने शंभू बॉर्डर पर सड़कों को आंशिक रूप से फिर से खोलने के लिए पंजाब, हरियाण पुलिस महानिदेशकों से एक सप्ताह में पड़ोसी जिलों के पुलिस अधीक्षकों के साथ बैठक करने का निर्देश दिया। बेंच ने इस दौरान शंभू बॉर्डर पर प्रदर्शनकारी किसानों से बातचीत करने के वास्ते प्रस्तावित समिति लिए गैर-राजनीतिक नाम सुझाने के लिए पंजाब, हरियाणा सरकारों की सराहना की।